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आज टेलीविजन घर पर मैच का सीधे प्रसारण कर भारतीय क्रिकेट प्रशंसक की चेतना को आकार दे रहा है। हालांकि जब मैं बड़ा हो रहा था, तब रेडियो मेरे लिए दुनिया की खिड़की हुआ करता था। मैंने बीटल्स को बीबीसी वर्ल्ड सर्विस के टॉप ट्वंटी कार्यक्रम में पहली बार सुना था और इसी चैनल के 'टेस्ट मैच स्पेशल' कार्यक्रम में मैंने लॉर्ड्स में संपन्न हुए एक टेस्ट मैच में गैरी सोबर्स द्वारा बनाए गए शतक के एक-एक स्ट्रोक का अनुसरण किया। यह 1966 की बात है और मैं तब आठ साल का था। इसके तीन साल बाद न्यूजीलैंड ने तीन टेस्ट मैचों की शृंखला के लिए भारत का दौरा किया था और मुझे लगता है कि मैंने ऑल इंडिया रेडियो पर इसका कुछ अनुसरण किया होगा, हालांकि उसकी कोई स्मृति नहीं बची है। लेकिन मैं अच्छी तरह से याद कर सकता हूं कि 1973 की गर्मियों में कीवी क्रिकेटरों ने मुझ पर कैसा प्रभाव डाला था। मैं उस समय स्कूली क्रिकेट के सघन सत्र से बस लौटा ही था, तब मैं फरवरी से अप्रैल के दौरान हर रविवार को होने वाले मैच में स्कूल इलेवन का हिस्सा हुआ करता था।
1973 की गर्मियों में ग्लेन टर्नर पैंतीस सालों में इंग्लिश समर में मई के अंत से पहले प्रथम श्रेणी में हजार रन पूरा करने वाले पहले बल्लेबाज बने थे। न्यूजीलैंड के इस क्रिकेटर ने काउंटी चैंपियनशिप में वोर्सेस्टशायर की ओर से खेलते हुए रन बनाए थे। तब शनिवार को वर्ल्ड सर्विस का स्पोर्ट्स स्पेशल प्रसारित होता था और उस दिन शाम को पांच बजे से रात 11.15 बजे तक सिर्फ समाचार प्रसारण के ब्रेक को छोड़ उसने मैच का लगातार प्रसारण किया।
'मई के अंत से पहले 1,000 रन' यह सारी खेल सूचियों में सर्वाधिक पसंद की जाने वाली सूचियों में से एक थी। 1973 तक इस क्लब में जो छह लोग शामिल थे, उनमें डब्ल्यू जी ग्रेस, वैली हैमंड और डॉन ब्रैडमैन (दो बार) भी थे। क्रिकेट खेलने वाले देशों में सबसे नीरस देश न्यूजीलैंड के एक बल्लेबाज ने इस सूची में शामिल होकर देशभक्त अंग्रेज कमेंटेटरों की खासी प्रशंसा बटोरी थी और इस भारतीय स्कूली छात्र के मन में भी गहरा प्रभाव छोड़ा था। ग्लेन टर्नर जून में न्यूजीलैंड की टीम का हिस्सा बन गए, जो कि उस समय तीन टेस्ट मैचों की शृंखला खेलने के लिए इंग्लैंड के प्रवास पर थी। पहला मैच सात से बारह जून, 1973 के बीच नाटिंघम में खेला गया, जिसे रेडियो पर सुनना रोमांचक था और इसे मैदान में देखना और अधिक रोमांचक रहा होगा। न्यूजीलैंड को चौथी पारी में जीत के लिए 478 रनों का विशाल रनों का स्कोर बनाना था, और उसने बहुत अच्छी तरह से इसका पीछा किया। मैंने घर के रेडियो पर हर एक रन का अनुसरण किया। उस कालजयी टेस्ट मैच को अब करीब आधी सदी हो गई। लेकिन स्कोरकार्ड को देखे बिना मैं आपको बता सकता हूं कि कैप्टन बीवन कांगडन और ऑफ स्पिनर ऑलराउंडर विक्टर पोलार्ड, दोनों ने उसमें सैकड़ा जड़ा था। मुझे याद आता है कि दोनों एकदम उलट शैलियों में बल्लेबाजी कर रहे थे।
भारतीय क्रिकेटप्रेमी न्यूजीलैंड के क्रिकेटरों को कमतर मानते रहे हैं। इसके पीछे दो तथ्य हैं। पहला यह कि 26 रन का न्यूनतम टेस्ट स्कोर न्यूजीलैंड के नाम है और दूसरा यह कि हमने विदेश में पहली टेस्ट शृंखला न्यूजीलैंड में जीती थी। हालांकि यह सुनने पर कि कैसे ग्लेन टर्नर ने मई के अंत से पहले हजार रन बनाने के मामले में ग्रेस, हैमंड और ब्रैडमैन की बराबरी की, और ट्रेंट ब्रिज में 478 रनों के लक्ष्य को तकरीबन हासिल कर लेने वाले कांगडन तथा पोलार्ड का अनुसरण करने के बाद मैंने कीवी क्रिकेटरों को गंभीरता से लिया।
इसके तीन साल बाद वेलिंग्टन में हुए टेस्ट में यह मिथक रिचर्ड हैडली की घातक स्विंग गेंदबाजी के बाद निर्णायक रूप से ध्वस्त हो गया कि टेस्ट क्रिकेट के मामले में कीवी बहुत भोले हैं। पहली पारी में गावस्कर, विश्वनाथ और वेंगसरकर सहित चार विकेट लेने के बाद हेडली ने हमारी दूसरी पारी ध्वस्त कर दी। उनका अंतिम स्कोर था, 8.3-0-23-7। भारत यह मैच एक पारी और कुछ रनों से हार गया। युवा हैडली सितारा बनकर चमके, 1973 के इंग्लिश समर के दो कीवी नायकों ग्लेन टर्नर और बीवन कांगडन ने भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाई और दोनों ने हाफ सेंचुरी बनाई।
किसी अन्य की तुलना में रिचर्ड हैडली को इस बात का श्रेय अधिक जाता है कि उनके कारण दूसरे देश के क्रिकेटर तथा क्रिकेट प्रेमी कीवियों का सम्मान करते हैं। इसी तरह से उनके अमूल्य सहयोगी युवा समकालीन मार्टिन क्रो थे, जो कि अपने समय के दुनिया के श्रेष्ठ बल्लेबाज थे, वैसे ही जैसे हैडली श्रेष्ठ गेंदबाज। क्रो शानदार कप्तान भी थे, जिनका रणनीतिक कौशल 1992 के विश्व कप में नजर आया था, जब उन्होंने प्रयोग करते हुए गेंदबाजी की शुरुआत एक स्पिनर से करवाई थी।
जैसा कि पाठकों ने अनुमान लगाया होगा, यह आलेख विश्व टेस्ट चैम्पियनशिप के हाल ही में संपन्न फाइनल से प्रेरित है, जिसे न्यूजीलैंड ने जीता है जो कि उसका हकदार था। यह अच्छी बात थी कि कीवियों ने ऑस्ट्रेलिया से आगे जाकर फाइनल में जगह बनाई, यह देश इस ग्रह में उनके सबसे पास जरूर है, लेकिन उन्हें तुच्छ समझने का उसका भाव जग जाहिर है (1946 में न्यूजीलैंड में एक टेस्ट खेलने के बाद ऑस्ट्रेलिया ने अगले 27 सालों तक उनके खिलाफ खेलने से इन्कार कर दिया था)।
यह और भी अधिक अद्भुत था कि कीवियों ने हमें फाइनल में हराया, क्योंकि जनसंख्या के आकार में भारी विसंगति के अलावा, यह भारत है, जो वित्तीय ताकत, प्रशासनिक नियंत्रण और दूसरों को धमकाने की क्षमता के मामले में निर्विवाद रूप से खेल की अकेली महाशक्ति है।
न्यूजीलैंड के क्रिकेटरों के प्रति सम्मान व्यक्त करते हुए मैं उस देश के सर्वकालिक ग्यारह खिलाड़ियों का चयन कर रहा हूं। ग्लेन टर्नर के साथ सलामी बल्लेबाज के रूप में साहसी बर्ट सटक्लिफ होंगे, जिन्होंने दो बार भारत का दौरा किया और दोनों ही मौकों पर शानदार बल्लेबाजी की। तीसरे और चौथे नंबर पर केन विलियमसन और मार्टिन क्रो ठीक होंगे और दोनों कप्तानी की अदला बदली भी कर सकते हैं। विशेषज्ञ बल्लेबाजी का क्रम मार्टिन डोनली के साथ पूरा हो जाएगा जो कि शुरुआती दौर के बाएं हाथ के शानदार बल्लेबाज थे, जिन्होंने लॉर्ड्स में न्यूजीलैंड के लिए इंग्लैंड के खिलाफ, ऑक्सफोर्ड के लिए कैंब्रिज के खिलाफ, जेंटलमैन के लिए प्लेयर्स के खिलाफ और 1945 के सुप्रसिद्ध 'विक्टरी टेस्ट' में डोमिनियन के लिए इंग्लैंड के खिलाफ सैकड़े जड़े थे। छठे, सातवें और आठवें क्रम में तीन शानदार ऑलराउंडर होंगे।
ये हैं, विकेट कीपर ब्रेंडन मैकुलम और बाएं हाथ के धीमी गति के गेंदबाज डेनियल विटोरी, युवा भारतीय प्रशंसक इन दोनों को पसंद करते हैं। उनके बाद रिचर्ड हैडली होंगे, जो कि तेज गेंदबाज होने के साथ ही निचले क्रम में बाएं हाथ से बल्लेबाजी भी कर सकते हैं। तीन तेज गेंदबाजों की जगह रह गई है और इसके लिए एक ऐसे देश के सीम और स्विंग गेंदबाज सही होंगे, जो इस मामले में माहिर हैं। एक स्थान बाएं हाथ के गेंदबाज के लिए होगा, 1973 के रिचर्ड कोलिंग्स की मजबूत दावेदारी के बावजूद मैं 2021 की टीम में ट्रेंट बाउल्ट को लेना चाहूंगा। उनके साथ दाएं हाथ के स्विंग गेंदबाज टिम साउथी ठीक होंगे। आखिरी स्थान के लिए शेन बांड मेरी पसंद हैं, जिनका मेल सिर्फ वकार युनूस से है। इस तरह मेरी सर्वकालिक कीवी टीम बल्लेबाजी के क्रम से इस तरह है : 1. ग्लेन टर्नर 2. बर्ट सटक्लिफ 3. केन विलयमसन (कप्तान) 4. मार्टिन क्रो (उप कप्तान) 5. मार्टिन डोनली 6. ब्रेंडन मैकुलम (विकेट कीपर) 7. डेनियल विटोरी 8. रिचर्ड हैडली 9. टिम साउथी 10. शेन बांड और 11.ट्रेंट बाउल्ट।
यदि सर्वकालिक भारतीय इलेवन के साथ मैच हुआ, तो कीवियों को कुंबले, मांकड़ और अश्विन से मुकाबला करना होगा और यदि मैच जुलाई में साउथंप्टन में हुआ तो मैं हेडली और बांड ऐंड कंपनी का गावस्कर, तेंदुलकर और उनके साथियों से मुकाबला होता देखना पसंद करूंगा।
आज टेलीविजन घर पर मैच का सीधे प्रसारण कर भारतीय क्रिकेट प्रशंसक की चेतना को आकार दे रहा है। हालांकि जब मैं बड़ा हो रहा था, तब रेडियो मेरे लिए दुनिया की खिड़की हुआ करता था। मैंने बीटल्स को बीबीसी वर्ल्ड सर्विस के टॉप ट्वंटी कार्यक्रम में पहली बार सुना था और इसी चैनल के 'टेस्ट मैच स्पेशल' कार्यक्रम में मैंने लॉर्ड्स में संपन्न हुए एक टेस्ट मैच में गैरी सोबर्स द्वारा बनाए गए शतक के एक-एक स्ट्रोक का अनुसरण किया। यह 1966 की बात है और मैं तब आठ साल का था। इसके तीन साल बाद न्यूजीलैंड ने तीन टेस्ट मैचों की शृंखला के लिए भारत का दौरा किया था और मुझे लगता है कि मैंने ऑल इंडिया रेडियो पर इसका कुछ अनुसरण किया होगा, हालांकि उसकी कोई स्मृति नहीं बची है। लेकिन मैं अच्छी तरह से याद कर सकता हूं कि 1973 की गर्मियों में कीवी क्रिकेटरों ने मुझ पर कैसा प्रभाव डाला था। मैं उस समय स्कूली क्रिकेट के सघन सत्र से बस लौटा ही था, तब मैं फरवरी से अप्रैल के दौरान हर रविवार को होने वाले मैच में स्कूल इलेवन का हिस्सा हुआ करता था।
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1973 की गर्मियों में ग्लेन टर्नर पैंतीस सालों में इंग्लिश समर में मई के अंत से पहले प्रथम श्रेणी में हजार रन पूरा करने वाले पहले बल्लेबाज बने थे। न्यूजीलैंड के इस क्रिकेटर ने काउंटी चैंपियनशिप में वोर्सेस्टशायर की ओर से खेलते हुए रन बनाए थे। तब शनिवार को वर्ल्ड सर्विस का स्पोर्ट्स स्पेशल प्रसारित होता था और उस दिन शाम को पांच बजे से रात 11.15 बजे तक सिर्फ समाचार प्रसारण के ब्रेक को छोड़ उसने मैच का लगातार प्रसारण किया।
'मई के अंत से पहले 1,000 रन' यह सारी खेल सूचियों में सर्वाधिक पसंद की जाने वाली सूचियों में से एक थी। 1973 तक इस क्लब में जो छह लोग शामिल थे, उनमें डब्ल्यू जी ग्रेस, वैली हैमंड और डॉन ब्रैडमैन (दो बार) भी थे। क्रिकेट खेलने वाले देशों में सबसे नीरस देश न्यूजीलैंड के एक बल्लेबाज ने इस सूची में शामिल होकर देशभक्त अंग्रेज कमेंटेटरों की खासी प्रशंसा बटोरी थी और इस भारतीय स्कूली छात्र के मन में भी गहरा प्रभाव छोड़ा था। ग्लेन टर्नर जून में न्यूजीलैंड की टीम का हिस्सा बन गए, जो कि उस समय तीन टेस्ट मैचों की शृंखला खेलने के लिए इंग्लैंड के प्रवास पर थी। पहला मैच सात से बारह जून, 1973 के बीच नाटिंघम में खेला गया, जिसे रेडियो पर सुनना रोमांचक था और इसे मैदान में देखना और अधिक रोमांचक रहा होगा। न्यूजीलैंड को चौथी पारी में जीत के लिए 478 रनों का विशाल रनों का स्कोर बनाना था, और उसने बहुत अच्छी तरह से इसका पीछा किया। मैंने घर के रेडियो पर हर एक रन का अनुसरण किया। उस कालजयी टेस्ट मैच को अब करीब आधी सदी हो गई। लेकिन स्कोरकार्ड को देखे बिना मैं आपको बता सकता हूं कि कैप्टन बीवन कांगडन और ऑफ स्पिनर ऑलराउंडर विक्टर पोलार्ड, दोनों ने उसमें सैकड़ा जड़ा था। मुझे याद आता है कि दोनों एकदम उलट शैलियों में बल्लेबाजी कर रहे थे।
भारतीय क्रिकेटप्रेमी न्यूजीलैंड के क्रिकेटरों को कमतर मानते रहे हैं। इसके पीछे दो तथ्य हैं। पहला यह कि 26 रन का न्यूनतम टेस्ट स्कोर न्यूजीलैंड के नाम है और दूसरा यह कि हमने विदेश में पहली टेस्ट शृंखला न्यूजीलैंड में जीती थी। हालांकि यह सुनने पर कि कैसे ग्लेन टर्नर ने मई के अंत से पहले हजार रन बनाने के मामले में ग्रेस, हैमंड और ब्रैडमैन की बराबरी की, और ट्रेंट ब्रिज में 478 रनों के लक्ष्य को तकरीबन हासिल कर लेने वाले कांगडन तथा पोलार्ड का अनुसरण करने के बाद मैंने कीवी क्रिकेटरों को गंभीरता से लिया।
इसके तीन साल बाद वेलिंग्टन में हुए टेस्ट में यह मिथक रिचर्ड हैडली की घातक स्विंग गेंदबाजी के बाद निर्णायक रूप से ध्वस्त हो गया कि टेस्ट क्रिकेट के मामले में कीवी बहुत भोले हैं। पहली पारी में गावस्कर, विश्वनाथ और वेंगसरकर सहित चार विकेट लेने के बाद हेडली ने हमारी दूसरी पारी ध्वस्त कर दी। उनका अंतिम स्कोर था, 8.3-0-23-7। भारत यह मैच एक पारी और कुछ रनों से हार गया। युवा हैडली सितारा बनकर चमके, 1973 के इंग्लिश समर के दो कीवी नायकों ग्लेन टर्नर और बीवन कांगडन ने भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाई और दोनों ने हाफ सेंचुरी बनाई।
किसी अन्य की तुलना में रिचर्ड हैडली को इस बात का श्रेय अधिक जाता है कि उनके कारण दूसरे देश के क्रिकेटर तथा क्रिकेट प्रेमी कीवियों का सम्मान करते हैं। इसी तरह से उनके अमूल्य सहयोगी युवा समकालीन मार्टिन क्रो थे, जो कि अपने समय के दुनिया के श्रेष्ठ बल्लेबाज थे, वैसे ही जैसे हैडली श्रेष्ठ गेंदबाज। क्रो शानदार कप्तान भी थे, जिनका रणनीतिक कौशल 1992 के विश्व कप में नजर आया था, जब उन्होंने प्रयोग करते हुए गेंदबाजी की शुरुआत एक स्पिनर से करवाई थी।
जैसा कि पाठकों ने अनुमान लगाया होगा, यह आलेख विश्व टेस्ट चैम्पियनशिप के हाल ही में संपन्न फाइनल से प्रेरित है, जिसे न्यूजीलैंड ने जीता है जो कि उसका हकदार था। यह अच्छी बात थी कि कीवियों ने ऑस्ट्रेलिया से आगे जाकर फाइनल में जगह बनाई, यह देश इस ग्रह में उनके सबसे पास जरूर है, लेकिन उन्हें तुच्छ समझने का उसका भाव जग जाहिर है (1946 में न्यूजीलैंड में एक टेस्ट खेलने के बाद ऑस्ट्रेलिया ने अगले 27 सालों तक उनके खिलाफ खेलने से इन्कार कर दिया था)।
यह और भी अधिक अद्भुत था कि कीवियों ने हमें फाइनल में हराया, क्योंकि जनसंख्या के आकार में भारी विसंगति के अलावा, यह भारत है, जो वित्तीय ताकत, प्रशासनिक नियंत्रण और दूसरों को धमकाने की क्षमता के मामले में निर्विवाद रूप से खेल की अकेली महाशक्ति है।
न्यूजीलैंड के क्रिकेटरों के प्रति सम्मान व्यक्त करते हुए मैं उस देश के सर्वकालिक ग्यारह खिलाड़ियों का चयन कर रहा हूं। ग्लेन टर्नर के साथ सलामी बल्लेबाज के रूप में साहसी बर्ट सटक्लिफ होंगे, जिन्होंने दो बार भारत का दौरा किया और दोनों ही मौकों पर शानदार बल्लेबाजी की। तीसरे और चौथे नंबर पर केन विलियमसन और मार्टिन क्रो ठीक होंगे और दोनों कप्तानी की अदला बदली भी कर सकते हैं। विशेषज्ञ बल्लेबाजी का क्रम मार्टिन डोनली के साथ पूरा हो जाएगा जो कि शुरुआती दौर के बाएं हाथ के शानदार बल्लेबाज थे, जिन्होंने लॉर्ड्स में न्यूजीलैंड के लिए इंग्लैंड के खिलाफ, ऑक्सफोर्ड के लिए कैंब्रिज के खिलाफ, जेंटलमैन के लिए प्लेयर्स के खिलाफ और 1945 के सुप्रसिद्ध 'विक्टरी टेस्ट' में डोमिनियन के लिए इंग्लैंड के खिलाफ सैकड़े जड़े थे। छठे, सातवें और आठवें क्रम में तीन शानदार ऑलराउंडर होंगे।
ये हैं, विकेट कीपर ब्रेंडन मैकुलम और बाएं हाथ के धीमी गति के गेंदबाज डेनियल विटोरी, युवा भारतीय प्रशंसक इन दोनों को पसंद करते हैं। उनके बाद रिचर्ड हैडली होंगे, जो कि तेज गेंदबाज होने के साथ ही निचले क्रम में बाएं हाथ से बल्लेबाजी भी कर सकते हैं। तीन तेज गेंदबाजों की जगह रह गई है और इसके लिए एक ऐसे देश के सीम और स्विंग गेंदबाज सही होंगे, जो इस मामले में माहिर हैं। एक स्थान बाएं हाथ के गेंदबाज के लिए होगा, 1973 के रिचर्ड कोलिंग्स की मजबूत दावेदारी के बावजूद मैं 2021 की टीम में ट्रेंट बाउल्ट को लेना चाहूंगा। उनके साथ दाएं हाथ के स्विंग गेंदबाज टिम साउथी ठीक होंगे। आखिरी स्थान के लिए शेन बांड मेरी पसंद हैं, जिनका मेल सिर्फ वकार युनूस से है। इस तरह मेरी सर्वकालिक कीवी टीम बल्लेबाजी के क्रम से इस तरह है : 1. ग्लेन टर्नर 2. बर्ट सटक्लिफ 3. केन विलयमसन (कप्तान) 4. मार्टिन क्रो (उप कप्तान) 5. मार्टिन डोनली 6. ब्रेंडन मैकुलम (विकेट कीपर) 7. डेनियल विटोरी 8. रिचर्ड हैडली 9. टिम साउथी 10. शेन बांड और 11.ट्रेंट बाउल्ट।
यदि सर्वकालिक भारतीय इलेवन के साथ मैच हुआ, तो कीवियों को कुंबले, मांकड़ और अश्विन से मुकाबला करना होगा और यदि मैच जुलाई में साउथंप्टन में हुआ तो मैं हेडली और बांड ऐंड कंपनी का गावस्कर, तेंदुलकर और उनके साथियों से मुकाबला होता देखना पसंद करूंगा।
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